फिर आयी पवन ले तेरी छूअन
भू मंडल पर फैला रहा मधु मॉस
हई प्राकृत व्याकुल लिए मन में आस
देख चकवा - चकवी का अनुपम जोड़ा
धरा ने भी मिलने का गुंजन छोड़ा
आह्लादित हुआ नभ पा अवनि मिलन
फिर आयी पवन ले तेरी छूअन !!!
ललित हुई बेलें लपक कर फिसलती
तरुवर की डाली से बढ़ कर लिपटती
उड़े मेघ नभ पर आह्लादित आनंदित
तुहिन श्रृंखला जब चुम्बन है करती
हर्षित वसुंधरा निरख अद्भुत मिलन
फिर आयी पवन ले तेरी छूअन !!!!
अमावस की काली भी पूनम सी ज्योतित
कमल नयनी बिन आभूषण सुशोभित
पौरुष हुआ फिर जीवित और गर्वित
बजी तान संयोगो की ,हर जर्रा हर्षित
खिल उठा मंजुल मन खिलता सुमन
फिर आयी पवन ले तेरी छूअन !!!!
भू मंडल पर फैला रहा मधु मॉस
हई प्राकृत व्याकुल लिए मन में आस
देख चकवा - चकवी का अनुपम जोड़ा
धरा ने भी मिलने का गुंजन छोड़ा
आह्लादित हुआ नभ पा अवनि मिलन
फिर आयी पवन ले तेरी छूअन !!!
ललित हुई बेलें लपक कर फिसलती
तरुवर की डाली से बढ़ कर लिपटती
उड़े मेघ नभ पर आह्लादित आनंदित
तुहिन श्रृंखला जब चुम्बन है करती
हर्षित वसुंधरा निरख अद्भुत मिलन
फिर आयी पवन ले तेरी छूअन !!!!
अमावस की काली भी पूनम सी ज्योतित
कमल नयनी बिन आभूषण सुशोभित
पौरुष हुआ फिर जीवित और गर्वित
बजी तान संयोगो की ,हर जर्रा हर्षित
खिल उठा मंजुल मन खिलता सुमन
फिर आयी पवन ले तेरी छूअन !!!!